झारखंड: 10 लाख ईनामी खूंखार नक्सली को जवानों ने धर दबोचा, कई बड़ी वारदातों में था शामिल, एक उग्रवादी हुआ ढेर, पढ़िये कितना दुर्दांत है नक्सली कमांडर कुंदन
Jharkhand: Soldiers nabbed a dreaded Naxalite with a bounty of Rs 10 lakh on his head, he was involved in many big crimes, one extremist killed, read how dreaded Naxalite commander Kundan is

Jharkhand Naxal News: नक्सल आपरेशंस में झारखंड पुलिस के जवानों को बड़ी कामयाबी मिली है। 10 लाख के खूंखार नक्सली को जवानों को धर दबोचा है, वहीं मुठभेड़ में एक नक्सली मार गिराया गया है। लातेहार पुलिस को माओवादी उग्रवाद के खिलाफ ये बड़ी सफलता हाथ लगी है। पुलिस अधीक्षक को गुप्त सूचना मिली थी कि भाकपा (माओवादी) संगठन के 10 लाख रुपए के इनामी जोनल कमांडर कुंदन सिंह खरवार अपने दस्ता सदस्यों के साथ नेतरहाट थाना क्षेत्र के दौना स्थित चोरहा नीचे टोला में किसी बड़ी नक्सली घटना को अंजाम देने की योजना बना रहा है।
इनपुट पर पुलिस अधीक्षक लातेहार ने अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी शिवपूजन बहेलिया के नेतृत्व में एक विशेष छापामारी दल गठित किया, जिसमें महुआडांड़ और बारेसाढ़ थानों के पुलिस बल के साथ-साथ IRB और जिला बल के जवानों को शामिल किया गया। छापामारी दल ने रात लगभग 1:30 बजे सुरक्षा मानकों का पालन करते हुए चोरहा टोला में संदिग्ध गतिविधियों का रेकी किया।
रेकी के दौरान उग्रवादियों ने पुलिस दल की मौजूदगी को भांपते हुए अंधाधुंध फायरिंग शुरू कर दी। पुलिस ने भी जवाबी कार्रवाई की और दोनों ओर से गोलियां चलने लगीं। पुलिस का दबाव बढ़ता देख उग्रवादी भागने लगे। इसी दौरान पुलिस ने एक उग्रवादी को हथियार के साथ धर दबोचा। पूछताछ में उसने अपनी पहचान भाकपा (माओवादी) संगठन के जोनल कमांडर कुंदन सिंह उर्फ सुधीर सिंह के रूप में दी। वह पिछले 10-12 वर्षों से माओवादी संगठन से जुड़ा हुआ था और लातेहार सहित आसपास के जिलों में सक्रिय था।
गिरफ्तारी के बाद इलाके में सघन सर्च ऑपरेशन चलाया गया, जिसमें CRPF की 11वीं बटालियन, SSB की 32वीं बटालियन और झारखंड जगुआर की टीमों को लगाया गया। तलाशी के दौरान एक उग्रवादी का शव बरामद हुआ, जिसकी पहचान पकड़े गए कुंदन सिंह ने भाकपा (माओवादी) के सबजोनल कमांडर मनीष यादव उर्फ मनीष जी के रूप में की। मनीष, गया (बिहार) जिले के डुमरिया थाना क्षेत्र के चक्रबंधा गांव का रहने वाला था।
सर्च ऑपरेशन के दौरान घटनास्थल से हथियार, गोलियां, दैनिक उपयोग की सामग्री और उग्रवादियों के अन्य सामान भी बरामद किए गए।
10-12 वर्षों से दहशत का दूसरा नाम रहा कुंदन
गौरतलब है कि जोनल कमांडर कुंदन सिंह पिछले एक दशक से लातेहार और सीमावर्ती जिलों में सक्रिय था। वह लेवी वसूली, विकास कार्यों में बाधा उत्पन्न करने, और आम जनता को डरा-धमकाकर क्षेत्र में आतंक फैलाने जैसी अनेक गंभीर आपराधिक गतिविधियों में लिप्त रहा है।
इस कार्रवाई को लातेहार पुलिस की एक बड़ी उपलब्धि माना जा रहा है, जिससे क्षेत्र में माओवादी नेटवर्क को तगड़ा झटका लगा है। पुलिस अधीक्षक ने बताया कि आगे भी इस तरह की कार्रवाई जारी रहेगी ताकि माओवादियों के नेटवर्क को जड़ से समाप्त किया जा सके।