झारखंड: 1 दिन के नवजात का मां ने ही कर दिया सौदा, 50 हजार रुपये लेकर बेचा, पुलिस की सक्रियता के बाद वापस मां की आंचल में पहुंचा, सरकार भी एक्शन में…
Jharkhand: Mother sold her one day old newborn for 50 thousand rupees, after police's promptness the child was returned to the lap of the mother, government also in action...

पलामू। झारखंड के पलामू जिले में 1दिन के नवजात को बेचने की घटना ने हर किसी को झकझोर कर रख दिया है। नवजात का रेस्क्यू तो कर लिया गया है, बावजूद इस घटना ने अपने पीछे कई सवाल खड़े कर दिये हैं। दरअसल पलामू जिले के लेस्लीगंज थाना क्षेत्र के लोटवा गांव में एक महिला ने अपने नवजात बेटे को महज 50 हजार रुपये में बेच दिया।
मामला उजागर होने के बाद पुलिस ने तत्परता दिखाते हुए बच्चे का रेस्क्यू किया और अब पूरे प्रकरण की जांच बाल कल्याण समिति कर रही है। जानकारी के अनुसार, लोटवा गांव निवासी पिंकी देवी ने 9 अगस्त को बेटे को जन्म दिया था। परिवार बेहद गरीबी में जीवन यापन कर रहा था और पिंकी देवी लंबे समय से स्तन कैंसर जैसी गंभीर बीमारी से भी जूझ रही हैं।
ऐसे हालात में, उसने एक सप्ताह बाद अपने नवजात को गांव की ही एक महिला के माध्यम से लातेहार के एक निसंतान दंपती को बेच दिया। जब महिला का पति मजदूरी से लौटा, तो बच्चों ने उसे बताया कि मां ने शिशु को बेच दिया है।
सीएम ने लिया संज्ञान
मामले के मीडिया में आने के बाद मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने तुरंत संज्ञान लिया और पलामू जिला प्रशासन को कड़ी कार्रवाई का निर्देश दिया। इसके बाद लेस्लीगंज थाना की टीम लातेहार पहुंची और बच्चे का रेस्क्यू किया। फिलहाल बच्चे को मिशन ऑफ चैरिटी की देखरेख में रखा गया है।
परिजनों को मिली सहायता
पलामू की बाल कल्याण समिति ने पूरे मामले की जांच की और जिला प्रशासन को जरूरी कदम उठाने के निर्देश दिए। प्रशासन ने पिंकी देवी के परिवार को आर्थिक सहायता और पोषण सामग्री उपलब्ध कराई। साथ ही महिला को इलाज के लिए मेदिनीनगर मेडिकल कॉलेज भेजा गया है।
महिला बदल रही है बयान
पुलिस और बाल कल्याण समिति का कहना है कि पिंकी देवी अपने बयान लगातार बदल रही हैं। कभी वह कहती हैं कि बच्चे को 50 हजार में बेचा, तो कभी कहती हैं कि रिश्तेदारों को सौंपा था। समिति का मानना है कि महिला को मानसिक और सामाजिक परामर्श (काउंसलिंग) की जरूरत है।
अधिकारियों की सक्रियता
मुख्यमंत्री के निर्देश पर सिविल सर्जन डॉ. अनिल कुमार सिंह, समाज कल्याण पदाधिकारी नीता चौहान, और अन्य अधिकारी गांव पहुंचे। परिवार की स्वास्थ्य जांच की जा रही है। स्वास्थ्य मंत्री इरफान अंसारी ने भी अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि महिला का उचित इलाज सुनिश्चित किया जाए।स्थानीय विधायक डॉ. शशिभूषण मेहता ने कहा कि परिवार को हरसंभव मदद दी जाएगी और उन्हें सरकारी योजनाओं से जोड़ा जाएगा। उन्होंने अपील की कि यदि कोई और परिवार ऐसी समस्या से जूझ रहा है, तो वे उनसे सीधे संपर्क करें।